नई दिल्ली ।। अनिल अम्बानी के नेतृत्व वाले अनिल धीरूभाई अम्बानी समूह (एडीएजी) की कम्पनी, रिलायंस पॉवर ने सोमवार को कहा कि झारखण्ड में कम्पनी की 3,960 मेगावाट वाली तिलैया विद्युत परियोजना को कॉर्बन क्रेडिट के लिए संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क कन्वेंशन ऑन क्लाइमेट चेंज (यूएनएफसीसीसी) से मंजूरी मिल गई है।
तिलैया संयंत्र शुरुआती 10 वर्षो की अवधि के दौरान 2.13 करोड़ कार्बन क्रेडिट पैदा करेगा, जिसकी कीमत 2,000 करोड़ रुपये से अधिक होगी।
रिलायंस पॉवर की ओर से एक बयान में कहा गया है, “यह तापीय विद्युत परियोजना यूएनएफसीसीसी के क्लीन डेवलपमेंट मेकेनिज्म इक्जेक्युटिव बोर्ड (सीडीएम-ईबी) में पंजीकृत है और यह व्यवस्था तिलैया परियोजना को उत्सर्जन में प्रामाणिक कमी (सीईआर) अर्जित करने की अनुमति देता है।”
सीईआर का व्यापार किया जा सकता है, बेचा जा सकता है और विद्युत कम्पनी के लिए प्रत्यक्ष राजस्व में बदला जा सकता है। तिलैया विद्युत संयंत्र में 660 मेगावाट की छह इकाइयां होंगी। यह संयंत्र झारखण्ड में हजारीबाग जिले में स्थित है।
यह परियोजना 10 राज्यों में 18 कम्पनियों को बिजली की आपूर्ति करेगी। यह परियोजना देश के पूर्वी हिस्से में किसी निजी क्षेत्र द्वारा किया गया एक सबसे बड़ा निवेश है।