मास्को ।। मास्को में बुधवार को दादी-नानियों के लिए पहली प्रतिस्पर्धा ‘मास्को सुपर-बाबुश्का 2011’ आयोजित होगी।

समाचार एजेंसी आरआईए नोवोस्ती के मुताबिक इस प्रतिस्पर्धा में 50 वर्ष से अधिक आयु की कुल 105 महिलाएं हिस्सा लेंगी। प्रतिस्पर्धा में मास्को की सबसे आकर्षक, सबसे आधुनिक, सबसे खूबसूरत, व्यवसायिक दिमाग वाली, रचनात्मक, कलात्मक और खुशहाल दादी-नानियों का चुनाव होगा।

शहर के समाज कल्याण विभाग ने एक वक्तव्य जारी कर कहा है, “वे किसी भी परिवार का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा होती हैं। वे बच्चों और पोती-पोतों की मददगार होती हैं। उनकी वजह से परिवारों में सुरक्षा व सद्भाव होता है।”

उन्होंने कहा, “वे न केवल पारिवारिक परम्पराओं को आगे बढ़ाती हैं बल्कि वे पीढ़ियों के बीच की कड़ी हैं। उनकी ऊर्जा, बुद्धिमानी और जीवन के प्रति चाहत प्रशंसा के योग्य है।”

रूसी समाज में दादी-नानियां परम्परागत रूप से महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। बाबुश्का पहले अपने बच्चों और फिर अपने पोते-पोतियों का पालन-पोषण करती हैं, घर के ज्यादातर काम निपटाती हैं और अक्सर घर पर शासन करती हैं।

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