वाशिंगटन ।। अमेरिकी प्रशासन ने ट्राई-वैली विश्वविद्यालय के 435 भारतीय छात्रों के दूसरे संस्थानों में जाने को मंजूरी प्रदान कर दी है। ऐसे संकेत हैं कि इस विश्वविद्यालय के बंद होने से प्रभावित करीब 1800 भारतीय छात्रों की तकलीफे कम करने की दिशा में कुछ प्रगति हुई है।

अमेरिकी अधिकारियों ने भारतीय उच्चायोग को शुक्रवार को बताया कि 1,000 से अधिक अन्य छात्रों को अन्य विश्वविद्यालयों में स्थानांतरित करने पर विचार किया जा रहा है।

यह बैठक कैलीफोर्निया स्थित कथित बोगस विश्वविद्यालय में फंसे भारतीय छात्रों के मुद्ददे पर चर्चा करने के लिए बुलाई गई थी।

भारतीय उच्चायोग के प्रेस नोट के मुताबिक अमेरिकी अधिकारियों ने बताया कि 145 भारतीय छात्रों ने स्थानांतरण से इंकार कर दिया है और लगभग इतने ही लोगों को स्थानांतरण को लेकर अपना इरादा जाहिर करने के लिए नोटिस जारी किया गया है। बाकी मामलों की जांच की जा रही है।

अधिकारियों ने बताया कि भारतीय छात्रों द्वारा मुहैया कराई गई जानकारियों के आधार पर प्रत्येक मामले की व्यक्तिगत तौर पर जांच की जा रही है। नोटिस लेने छात्रों को सलाह दी गई है कि वे सभी आवश्यक दस्तावेजों और जानकारियों के मुताबिक नोटिस का जवाब दें।

अमेरिका के आंतरिक सुरक्षा विभाग और संयुक्त राष्ट्र नागरिक एवं आव्रजन सेवा (यूएससीआईएस) और इसकी एक अन्य शाखा आव्रजन एवं आयकर एवं सीमा शुल्क प्रवर्तन विभाग (आईसीई के अधिकारियों ने संयुक्त रूप से बैठक में हिस्सा लिया था।

भारतीय उच्चायोग के अधिकारियों ने अमेरिकी अधिकारियों की इस पहल का स्वागत किया।

प्रेस नोट के मुताबिक ट्राई-वैली विश्वविद्यालय के मुद्दे को हल करने के लिए भारतीय उच्चायोग लगातार अमेरिकी प्रशासन से सम्पर्क बनाए हुए था।

इसी क्रम में अमेरिकी प्रशासन की तरफ से एक और सकारात्मक बात सामने आई है जिसमें प्रशासन ने इस बात का आश्वासन दिया है कि यदि किसी परिस्थति में कोई छात्र स्थानांतरण की प्रक्रिया से अलग होकर भारत वापस लौटना चाहता है और फिर वहां से दोबारा अपना आवेदन करने का फैसला करता है तो, उन छात्रों के आवेदन पर नए सिरे से विचार किया जाएगा।

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