वाशिंगटन ।। खगोलशास्त्र से जुड़े कुछ लोग जहां यह मानते हैं कि दुनिया वर्ष 2012 में समाप्त हो जाएगी। वहीं, इसके विपरीत अमेरिका की अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने कहा है कि पृथ्वी के विनाश के सम्भावित कारणों में से एक सूर्य की विशालकाय ‘संहारक लपट’ जीवन को नष्ट नहीं करेगी।

कई लोगों ने विशालकाय ‘संहारक लपट’ जो सूर्य से आ सकती है उसे लेकर चिंता जाहिर की है। लोगों का मानना है कि इससे पृथ्वी पर जीवन समाप्त हो जाएगा। लेकिन नेशनल एरोनाटिक्स एंड स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन (नासा) का कहना है कि सूर्य के पास इतनी पर्याप्त ऊर्जा नहीं है कि वह 9.3 करोड़ मील दूर एक संहारक आग के गोले को भेज सके।

तथ्यों का हवाला देते हुए कहा गया है कि सौर गतिविधि वर्तमान में अपने मानक से अधिक गति से बढ़ रही है। ऐसी मान्यता है कि वर्ष 2012 में सूर्य से आने वाली एक लपट पृथ्वी से टकराएगी।

नासा के एक बयान के मुताबिक सौर चक्र की यह घटना सहस्राब्दियों से होती आई है और इस दौरान लोग जीवित रहे हैं। इसके अलावा उसने सौर चक्र की अधिकतम गति वर्ष 2012 को छोड़ वर्ष 2013 के अंत में अथवा 2014 की शुरुआत में होने का अनुमान जताया है। 

बयान के मुताबिक इसका यह मतलब नहीं है कि अंतरिक्ष का मौसम हमारे ग्रह पर असर नहीं डाल सकता। एक सौर लपट की अत्यधिक गर्मी पृथ्वी तक नहीं पहुंच सकती लेकिन उससे उत्पन्न इलेक्ट्रोमैग्नेटिक विकिरण और ऊर्जावान कण हमारे ग्रह तक पहुंच सकते हैं।

नासा के मुताबिक सौर लपटें ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) उपग्रह से आने वाले संकेत संचरण को स्थाई रूप से प्रभावित कर सकती हैं।

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