नई दिल्ली ।। पूंजीगत वस्तुओं के उत्पादन में भारी कमी के चलते जुलाई में देश के औद्योगिक उत्पादन की दर में पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 3.3 फीसदी की सुस्त वृद्धि दर्ज की गई है।

केंद्रीय सांख्यिकी और योजना क्रियान्वयन मंत्रालय की ओर से सोमवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक जुलाई में पूंजीगत वस्तुओं के उत्पादन में 15.2 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई। पिछले वर्ष जुलाई में औद्योगिक उत्पादन की दर 9.9 फीसदी थी।

सूचकांक में प्रमुख भागीदारी वाले विनिर्माण क्षेत्र में समीक्षाधीन अवधि में विकास की दर 2.3 फीसदी जबकि खनन क्षेत्र में विकास दर 2.8 फीसदी रही। बिजली उत्पादन में हालांकि 13.1 फीसदी की अच्छी वृद्धि दर्ज की गई।

औद्योगिक उत्पादन की दर में आई गिरावट से औद्योगिक समूहों के उस तर्क को मजबूती मिलती है जिसमें उन्होंने बढ़ते ब्याज दरों के कारण विकास पर असर पड़ने की बात कही है।

भारतीय रिजर्व बैंक जनवरी 2010 के बाद से अब तक प्रमुख दरों में 11 बार वृद्धि कर चुका है।

इन तमाम प्रयासों के बावजूद मासिक महंगाई दर दहाईं अंक के करीब है जबकि पिछले सप्ताह खाद्यान्न महंगाई की दर 9.55 फीसदी दर्ज की गई।

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