नई दिल्ली, ।। अन्ना को शांतिपूर्ण ढंग से अनशन करने से रोकने के लिए सरकार के इशारे पर दिल्ली पुलिस ने उनको गिरफ्तार कर तिहाड़ भेजा था, लेकिन अब यहीं दांव सरकार को भारी पड़ रही है। अन्ना की गिरफ्तारी केंद्र सरकार के लिए मुसीबत बन गई है। छोटे गांधी तिहाड़ से निकलने के लिए मान नहीं रहे और वहीं अनशन कर रहे हैं। अन्ना को भ्रष्टाचार के खिलाफ अनशन करता देख, वहां के कैदी भी अन्ना के रंग में रंग गये हैं और उनके समर्थन में अनशन पर बैठ गये हैं। 

बुधवार सुबह अन्‍ना की गिरफ्तारी के विरोध में तिहाड़ के लगभग 40 फीसदी कैदियों ने चाय नहीं ली। उनका कहना है कि भ्रष्‍टाचार के खिलाफ लड़ाई में वे लोग अन्‍ना के साथ हैं और अनशन करेंगे।

अन्‍ना ने भी अपने त्याग और निष्ठा की भावना से तिहाड़ को ही जेपी पार्क में बदल दिया है। वह तब तक तिहाड़ जेल छोड़ने पर राजी नहीं हैं, जब तक कि उन्‍हें बिना शर्त जेपी पार्क में अनशन करने की इजाजत नहीं दे दी जाती। उधर, अन्ना के हजारों समर्थक तिहाड़ के बाहर धरने पर बैठे हैं। सरकार अब यह सोच नहीं पा रही है कि अन्‍ना को कैसे राजी किया जाए।

अन्‍ना के समर्थन में ऑटो वाले और बार एसोसिएशन हड़ताल पर

अन्‍ना के समर्थन में बुधवार को दिल्‍ली में ऑटो वालों ने हड़ताल पर जाने की घोषणा कर रखी है है। सड़कों पर ऑटो नदारत है। दिल्ली की सभी छह जिला अदालतों में वकील भी हड़ताल कर रहे हैं। दिल्ली की सभी बार एसोसिएशन की कोऑर्डिनेशन कमिटी ने जिला अदालतों में हड़ताल करने का निर्णय लिया है।

अन्‍ना के समर्थन में इंडिया गेट से संसद भवन तक मार्च

अन्‍ना के समर्थक आज इंडिया गेट से संसद भवन तक मार्च भी निकालेंगे। वहीं सुप्रीम कोर्ट में अन्‍ना और उनकी टीम की‍ गिरफ्तारी की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिका दायर किए जाने की उम्‍मीद है।

तिहाड़ से बाहर आए अन्ना के सहयोगी मनीष सिसौदिया ने क्या कहा ?

हजारे की रिहाई के आदेश मंगलवार रात ही दिल्ली पुलिस की ओर से तिहाड़ जेल प्रशासन को भेज दिए गए थे, लेकिन अन्ना ने बाहर आने से इनकार कर दिया। इसे देखते हुए तिहाड़ जेल के प्रशासनिक ब्लाक के एक कमरे में अन्ना को ठहराया गया। रिहाई आदेश आने के बाद अन्ना हजारे के करीबी सहयोगी मनीष सिसौदिया जेल से बाहर आ गए। उन्‍होंने मीडिया और वहां उमड़ी भीड़ को सम्बोधित करते हुए कहा कि “अन्ना हजारे ने तब तक तिहाड़ जेल से बाहर आने से मना कर दिया है, जब तक कि उन्हें जय प्रकाश नारायण राष्ट्रीय उद्यान में अनशन की अनुमति नहीं दे दी जाती।”

उन्होंने कहा कि “अन्ना हजारे और अरविंद केजरीवाल का अनशन जेल के भीतर जारी है। मैं इसलिए बाहर आ गया हूं, ताकि लोगों को इस सम्बंध में जानकारी दी जा सके।” इसके बाद मनीष भी जेल के बाहर धरने पर बैठ गए।

इससे पहले, दिल्ली पुलिस ने अन्ना हजारे और उनके सहयोगियों की रिहाई का वारंट भेजा था। दिल्ली पुलिस के प्रवक्ता राजन भगत ने  बताया कि हमने अन्ना हजारे व उनके सहयोगियों की रिहाई का वारंट भेज दिया है। भगत ने कहा कि अब यह तिहाड़ जेल प्रशासन को फैसला करना है कि वह अन्ना हजारे को कब रिहा करेंगे ?

दिल्ली पुलिस के ऊपर है अन्ना की जिम्मेदारी

केंद्र सरकार ने अन्ना की जिम्मेदारी दिल्ली पुलिस को दे दी है। गृह सचिव आर.के. सिंह ने बताया कि अन्ना हजारे कहीं भी जाने के लिए स्वतंत्र हैं और दिल्ली पुलिस उनसे बातचीत कर रही है। उन्होंने कहा कि इस बारे में दिल्ली पुलिस ही फैसला करेगी की अन्ना को जेपी पार्क में अनशन करने की अनुमति दी जाए या नहीं।

बाबा रामदेव आएंगे अन्ना से मिलने तिहाड़

अन्ना हजारे की गिरफ्तारी के विरोध में योग गुरु बाबा रामदेव बुधवार को राष्ट्रपति प्रतिभा सिंह पाटील से मुलाकात कर उन्हें एक ज्ञापन सौंपेंगे। बाबा रामदेव ने कहा है कि वह बुधवार दिन में 11.45 बजे राष्ट्रपति से मुलाकात करेंगे। इसके बाद वह अन्ना हजारे से मिलने तिहाड़ जाएंगे।

अन्ना को मनाने की कोशिश

पुलिस अन्ना को मनाने की पूरी कोशिश कर रही है। पुलिस ने उनके सामने दो विकल्प रखे हैं। पहला यह कि जेपी पार्क में 3 दिन तक अनशन करने की शर्त को मान लें और दूसरा यह कि उन्हें दिल्ली से बाहर छोड़ दिया जाय। अन्ना ने इन दोनों ही प्रस्तावों को खारिज कर दिया है।

श्री श्री रविशंकर अन्ना से मिलने तिहाड़ पहुंचे

श्री श्री रविशंकर अन्ना से मिलने और उनके अनशन को समर्थन देने के लिए तिहाड़ जेल पहुंचे। उन्होंने अन्ना के समर्थकों के साथ कुछ वक्त बिताया और फिर लौट गए। 

Rate this post

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here